रोज सिरहाने रख कर सोती हूँ
एक सपना ,
हां , एक सपना.
तुम्हारे नन्हे , नन्हे हाथो का
तुम्हारी नन्ही आँखों का
और, तुम्हारे दुलार और स्पर्श का .
दुनिया में सब से प्यारा और
सब से मासूम एक सपना,
तुम्हारे इस दुनिया में आने का सपना ,
दुनिया में इससे ख़ूबसूरत कोई सपना नहीं.
इसीलिए पलकों को थामे इन्तजार कर रही हूँ
तुम्हारे आने का ,
हां मेरे ,पुरे होने का ,
मेरे अस्तित्व का सपना |
-- अनुभूति